हमीरपुर:विजिलेंस कि कार्यवाही पर स्थानीय लोगों ने जताई शंका
हिमाचल क्राइम न्यूज़
नादौन। वेब डेस्क
हाल ही में नादौन पुलिस के पूर्व थाना प्रभारी नीरज राणा के ऊपर 25 हज़ार कि रिश्वत सहित फ़रार व गाड़ी से चिट्टा बरामद होने जैसा मामला विजिलेंस द्वारा दर्ज़ किया गया है। पुलिस विभाग ने राणा को सस्पेंड करके विभागीय जांच भी शरू कर दी है। परंतु नीरज राणा के चाहने वालों का मानना है कि ये सभी आरोप गलत है और राणा को झूठे केस में फ़ंसाया जा रहा है। सोशल मीडिया में लोगों ने विजिलेंस कि कार्यवाही पर आपत्ति प्रकट की है।
सोशल मीडिया में एक वायरल पोस्ट में लिखा है कि "जब नीरज राणा कि गाड़ी जिस दिन ज़ब्त की तो उसके अगले दिन मिले डैश बोर्ड में रखे पर्स में चिट्टा उस ही दिन क्यों नही मिला। इससे साफ़ है कि इंस्पेक्टर नीरज राणा को फंसाया जा रहा है"। बरहाल पूर्व एसएचओ नीरज राणा को हिमाचल हाइकोर्ट कि जस्टिस सीबी बोरोवलिया कि बेंच से 31 दिसंबर तक कि अंतरिम अग्रिम जमानत मिल चुकी है। कोर्ट ने उन्हें पुलिस जांच में सहयोग देने के भी आदेश दिए हैं। आपको बता दें नीरज राणा साल 2010 में डायरेक्ट सब इंस्पेक्टर के पद पर नियुक्त हुए थे। वे ज़िला ऊना के हरोली क्षेत्र के रहने वाले मूल निवासी हैं। उन्हें विभाग ने साल 2020 में नादौन पुलिस स्टेशन का एसएचओ नियुक्त किया था।
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